'आज रात हो जाएगा समास्या का समाधान', शेख हसीना के इस्तीफे के बाद आर्मी चीफ ने दिया बाद बयान

बांग्लादेश में जारी हिंसा के बीच राजनीतिक तख्तापलट हुआ है. प्रधानमंत्री शेख हसीना के इस्तीफे के बाद आर्मी फ्रन्ट पर या गई है. शेख हसीना के इस्तीफे के बाद बांग्लादेश के आर्मी चीफ ने एक महत्वपूर्ण बयान दिया है, उनका कहना है कि हम एक अंतरिम सरकार बनाएंगे और अभी के लिए देश को यही अंतरिम सरकार चलाएगी. 

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Courtesy: TOI

Sheikh Haseena Resigned from the post of Prime Minister: बांग्लादेश के आर्मी चीफ ने शेख हसीना के इस्तीफे के बाद बड़ा बयान सामने आया है. सेना का कहना है कि हम एक अंतरिम सरकार बनाएंगे और इसे देश भर में चलाएंगे. इसके अलावा, आर्मी चीफ ने सभी दलों को एकत्र करने का भी आदेश दिया है. मीडिया के मुताबिक, बताया कि प्रधानमंत्री हसीना ने इस्तीफा दे दिया और अंतरिम सरकार बनाएगी, जो शांति को वापस लाएगी. हम लोगों से हिंसा को रोकने को कहते हैं. बांग्लादेश की सेना के प्रमुख वेकर-उज़-ज़मान ने कहा कि पिछले कुछ हफ्तों में हुई सभी हत्याओं की जांच की जाएगी.

 

आर्मी चीफ का बड़ा बयान आया सामने

बांग्लादेश आर्मी चीफ ने कहा "देश में कर्फ्यू या किसी आपातकाल की जरूरत नहीं, आज रात तक संकट का समाधान ढूंढ लेंगे". आगे कहा कि सेना के साथ बहस में प्रमुख राजनीतिक दलों के लोग उपस्थित थे. विद्यार्थियों से अनुरोध है कि वे शांत रहें और घर वापस जाएं.

जानिए पूरा मामला 

बांग्लादेश की स्थिति बदतर होती जा रही है. प्रधानमंत्री शेख हसीना ने बांग्लादेश में जारी हिंसा के बीच ढाका छोड़ दिया है. हसीना सुरक्षित स्थान पर चली गई है. इस बीच, ढाका में सैकड़ों लोग प्रधानमंत्री आवास में घुस गए हैं. प्रदर्शनकारियों ने कई महत्वपूर्ण मार्गों पर भी कब्जा कर लिया है. इंटरनेट पूरी तरह बंद हो गया है, सत्तारूढ़ अवामी लीग के कार्यकर्ताओं को निशाना बनाते हुए, मुख्य विपक्षी पार्टी BNP के कार्यकर्ता बड़ी संख्या में सड़कों पर उतरे हैं.

शनिवार को ढाका में सैन्य मुख्यालय में अधिकारियों को संबोधित करते हुए, वर्तमान सेना प्रमुख वकर-उज-जमान ने कहा, “बांग्लादेश की सेना लोगों के विश्वास का प्रतीक है. सेना ने विरोध प्रदर्शनों का समर्थन किया या नहीं, तथा उन्होंने यह विश्वास दिलाया की जरूरत के समय पर वह लोगों और राज्य के साथ हमेशा खड़े रहेंगे. विवादास्पद सिविल सेवा नौकरी कोटा के खिलाफ शुरू हुए प्रदर्शन ने हसीना के 15 साल के नेतृत्व के दौरान सबसे खराब अशांति में बदल गया, जिसके चलते हिंसा मे 200 से अधिक लोगों ने इस हिंसा मे अपनी जान गवा दी.