Batala News: श्री करतारपुर कॉरिडोर से डेरा बाबा नानक ने श्री करतारपुर साहिब अभिलाषी संस्था से लगातार की गई गुजारिशों के बाद वाहेगुरु के आशिर्वाद से भारत एंव पाकिस्तान की सरकारों ने आपसी मेल- मिलाप से 1947 के विभाजन के दरमियान बिछड़े परिवारों को फिर से मिलवाया है. इस कार्य में जिला फरीदकोट के रहने वाले प्रितपाल सिंह दौहड़ ने सहायता की है.
प्रितपाल सिंह दौहड़ ने कहा कि एक वर्ष पूर्व शकीना नामक महिला ने अपने भारत में रह रहे भाई से मुलाकात करने के लिए सोशल मीडिया पर तस्वीर और वीडियो पोस्ट की थी. महिला पाकिस्तान के शेखूपुरा की रहने वाली है. उस वीडियो को देखने के बाद उसमें दिए पते के हिसाब से महिला के भाई को तलाशना शुरी कर दिया. इस बीच लुधियाना के गांव जस्सोवाल के नजदीक डेहलों में 75 वर्षीय गुरमेल सिंह का पता चला. जिसका वीडियो बहन ने जारी किया था.
पाकिस्तान स्थित गुरुद्वारा श्री करतारपुर साहिब में दोनों भाई-बहन को 75 वर्ष के बाद मिलाने की व्यवस्था की गई. प्रितपाल का कहना है कि गुरदासपुर के ऐतिहासिक शहर डेरा बाबा नानक में करतारपुर कॉरिडोर पर जाकर उसने सारी औपचारिकताएं पहले पूरी की. जिसके बाद गुरमेल सिंह की बहन शकीना को अपने बिछड़े भाई से मिलवाया गया. दोनों भाई-बहन एक-दूसरे से गले मिलने काे बाद रो पड़े. 75 साल बाद बहन ने भाई को फूलों की माला पहनाई. इस दरमियान बहन ने अपने भाई की कलाई पर राखी बांधी. जिसके बाद गुरमेल सिंह बहन शकीना से मिल भारत लौट आया.