Lok Sabha Elections: सरकार आने वाले साल 2024 में होने वाले लोकसभा चुनाव को देखते हुए कई कदम उठा रही है. वहीं चुनाव को मात्र 4 महीने रह गए हैं. जिसको लेकर केंद्र की मोदी सरकार इस महाचुनाव से पहले किसी प्रकार का रिस्क नहीं लेना चाहती है. इसी बीच सरकार ने प्याज की बढ़ती दामों के लिए बड़ा निर्णय लिया है.
डायरेक्टर जनरल ऑफ फॉरेन ट्रेड (DGFT) ने सरकार के निर्णय को लेकर नोटिफिकेशन जारी किया है. दरअसल नोटिफिकेशन के अनुसार प्याज के एक्सपोर्ट पॉलिसी में संशोधन करते हुए उसे एक बार फिर प्रतिबंधित कर दिया गया है. वहीं प्याज के एक्सपोर्ट पर बैन करने के निर्णय को बीते दिन यानि 8 दिसंबर, 2023 से लागू कर दिया गया है. जबकि डिपार्टमेंट ऑफ कंज्यूमर अफेयर्स के अनुसार 8 दिसंबर 2023 को खुदरा बाजार में प्याज की औसत दाम 56.82 रुपये प्रति किलो है. जबकि प्याज की औसतन कीमत 28.88 रुपये प्रति किलो थी. इतना ही नहीं एक साल में प्याज की कीमतों में लगभग दोगुना बढ़ोत्तरी देखी गई है.
मिली सूचना अनुसार सरकार ने एक बयान जारी किया है कि, जिसमें केवल तीन परिस्थितियों में प्याज के एक्सपोर्ट को छूट दी जा सकती है. पहला नोटिफिकेशन के जारी होने से पूर्व जहाज पर प्याज की लोडिंग कर ली गई हो. जबकि दूसरा, नोटिफिकेशन के जारी होने तक शिपिंग बिल भर लिया गया हो, और वेसल पोर्ट पर प्याज लोडिंग के लिए चला गया हो. जबकि इस परिस्थिति में एक्सपोर्ट को अनुमती तभी दी जाएगी, जब अथॉरिटी ये कंफर्म कर दे कि, जहाज की बर्थिंग की गई है. साथ ही तीसरी परिस्थिति होगी कि, एक्सपोर्ट किया जाने वाला प्याज कस्टम के हाथों दे दिया गया हो. इतना ही नहीं सिस्टम में उसकी रजिस्ट्री कर ली गई हो. बता दें कि ये छूट केवल 5 जनवरी 2024 तक ही दी जाएगी.
दरअसल असमान तेज बारिश एवं खरीफ प्याज की बुआई होने में देरी की वजह से प्याज की खेती का रकबा कम हो रहा है. साथ ही फसल देर से पहुंची हो, बता दें कि दो दिन पहले ही क्रिसिन ने अपनी रिपोर्ट में बताया था कि, प्याज की मंहगाई को देखते हुए शाकाहारी भोजन करने वालों की थाली महंगी हो गई है. जबकि इससे पहले केंद्र सरकार ने गेहूं, चावल, चीनी के निर्यात पर रोक लगाई थी. वहीं बीते गुरुवार को सरकार ने चीनी की कीमतों में बढ़ोत्तरी के बाद गन्ने से एथेनॉल बनाने पर रोक लगाई है. जिससे ये फायदा होगा कि, घरेलू बाजार में चीनी की कीमतों में कमी होगी.