अगर 0.001% भी लापरवाही हुई तो... NEET पर सुप्रीम कोर्ट ने NTA और केंद्र से मांगा जवाब

NEET Controversy: नीट (NEET) मामले में अमूल्य विजय पिनापति और नितिन विजय की ओर से दायर याचिका पर मंगलवार को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई है. याचिकाओं में नीट के पेपर लीक होने की जांच करने की मांग की गई है. कोर्ट ने एनटीए और केंद्र को नोटिस जारी किया है और दो सप्ताह में जवाब मांगा है.

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NEET Controversy: मेडिकल अभ्यर्थियों ने परीक्षा के संचालन में गड़बड़ी का आरोप लगाया है.सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को NEET-UG 2024 परीक्षा के आयोजन में पेपर लीक और कदाचार का आरोप लगाने वाली याचिकाओं पर राष्ट्रीय परीक्षण एजेंसी (NTA) और केंद्र सरकार को नोटिस जारी किया है और मामले में जवाब मांगा है. मेडिकल अभ्यर्थियों और उनके माता-पिता द्वारा विरोध प्रदर्शन शुरू करने वाले गंभीर आरोपों के बीच, शीर्ष अदालत ने कहा कि छोटी सी लापरवाही से भी पूरी तरह से निपटने की जरूरत है.

एनटीए और केंद्र को नोटिस जारी करते हुए कोर्ट ने कहा कि 0.001 प्रतिशत लापरवाही पर भी हुई तो पूरी तरह से निपटा जाना चाहिए. अदालत ने यह भी कहा कि वह देश में सबसे कठिन प्रवेश परीक्षाओं में से एक की तैयारी के लिए  उम्मीदवारों द्वारा की गई कड़ी मेहनत को नहीं भूल सकती.

एएनआई के अनुसार, अदालत ने कहा, "बच्चों ने परीक्षा की तैयारी की है, हम उनके परिश्रम को नहीं भूल सकते हैं. जस्टिस विक्रम नाथ ने एनटीए से कहा कि सुप्रीम कोर्ट उससे समय पर कार्रवाई की उम्मीद करता है. उन्होंने कहा, ''आइए हम याचिकाओं पर आठ जुलाई को सुनवाई करें.''

NEET-UG परीक्षा 5 मई को भारत के 571 शहरों में 4,750 केंद्रों पर आयोजित की गई थी. परिणाम 4 जून को घोषित किए गए थे. हालांकि, परिणाम घोषित होने के बाद, माता-पिता और शिक्षकों ने 1,563 छात्रों को दिए गए मार्क्स पर संदेह जताय़ा था.

नीट में धांधली को लेकर छात्र जमकर आंदोलन कर रहे थे जिसमें राजनीतिक दलों के आने से मामला विवाद में तब्दील हो गया है. एजेंसी ने इस महीने की शुरुआत में सुप्रीम कोर्ट को बताया कि वह उन लोगों के लिए परीक्षा रद्द कर रही है, जिन्हें ग्रेस मार्क्स मिले थे.इसमें कहा गया है कि इन छात्रों को 23 जून को दोबारा परीक्षा देने की अनुमति दी जाएगी और परिणाम 30 जून से पहले घोषित किए जाएंगे.

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