नई दिल्ली: अमेरिका द्वारा भारत वापस भेजे गए 100 से अधिक अवैध भारतीय प्रवासियों के साथ किए गए कथित अमानवीय व्यवहार के खिलाफ विपक्षी दलों ने बृहस्पतिवार को संसद परिसर में जोरदार प्रदर्शन किया. कांग्रेस, समाजवादी पार्टी (सपा) और अन्य विपक्षी दलों के नेताओं ने इस मुद्दे पर सरकार के खिलाफ कड़ा विरोध जताया.
कांग्रेस के संगठन महासचिव केसी वेणुगोपाल, समाजवादी पार्टी के सांसद धर्मेंद्र यादव और अन्य विपक्षी नेताओं ने इस प्रदर्शन में हिस्सा लिया. इस विरोध के दौरान उन्होंने अपने हाथों में हथकड़ी पहन रखी थी और ‘देश का अपमान नहीं सहेंगे’ तथा ‘मोदी सरकार हाय हाय’ जैसे नारे लगाए. प्रदर्शनकारियों ने तख्तियां भी ली हुई थीं, जिन पर लिखा था, “हर हिंदुस्तानी का स्वाभिमान यही, न्याय दो जंजीर नहीं.”
लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी, राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खरगे, कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी वाद्रा, सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव सहित कई प्रमुख विपक्षी नेताओं ने इस प्रदर्शन में भाग लिया.
राहुल गांधी ने ‘एक्स’ प्लेटफार्म पर अमेरिका से वापस भेजे गए एक प्रवासी, हरविंदर के बयान का वीडियो साझा किया. इस वीडियो में हरविंदर यह दावा करते हुए दिखे कि उन्हें 40 घंटों तक हथकड़ी पहने रखा गया और पैरों में जंजीर भी बांधी गई थी. राहुल गांधी ने कहा, “प्रधानमंत्री जी इस व्यक्ति का दर्द सुनिए. भारतीय गरिमा और मानवता के हकदार हैं, हथकड़ी के नहीं.”
राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने विरोध प्रदर्शन का एक वीडियो साझा करते हुए मोदी सरकार से विस्तृत बयान की मांग की. उन्होंने सवाल उठाया कि भारतीय नागरिकों को सम्मान के साथ वापस लाने के लिए भारत का विमान क्यों नहीं भेजा गया.
प्रियंका गांधी वाद्रा ने भी इस मुद्दे पर अपनी चिंता जताते हुए कहा, "मोदी जी और डोनाल्ड ट्रंप के अच्छे संबंधों के बावजूद, क्यों भारतीयों को हथकड़ियां और बेड़ियां पहनाकर भेजा गया?"
वाम दलों के सांसदों ने भी इस प्रदर्शन का समर्थन किया और भारतीय प्रवासियों के साथ किए गए अमानवीय व्यवहार की कड़ी आलोचना की. उनका कहना था कि यह बर्ताव भारतीय नागरिकों की गरिमा के खिलाफ है.
गौरतलब है कि बुधवार को अमेरिका से 104 "अवैध" भारतीय प्रवासियों को लेकर एक अमेरिकी सैन्य विमान अमृतसर हवाई अड्डे पर उतरा था. यह भारत भेजे गए प्रवासियों का पहला जत्था था, जो डोनाल्ड ट्रंप प्रशासन द्वारा अवैध प्रवासियों के खिलाफ उठाए गए कदमों के तहत वापस भेजे गए थे.
प्रदर्शनकारियों ने तस्वीरों में इन प्रवासियों के हाथों में हथकड़ी देखी, जिसे लेकर विपक्षी दलों ने सरकार की कड़ी आलोचना की.
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