महाकुंभ में युवाओं की बढ़ती भागीदारी पर बोले PM Modi, मन की बात कार्यक्रम में इन मुद्दों पर हुई बात

प्रधानमंत्री ने महाकुंभ में युवाओं की बढ़ती भागीदारी का जिक्र करते हुए कहा कि जब युवा अपनी सभ्यता और संस्कृति से गर्व के साथ जुड़ते हैं, तो यह उनके जीवन की जड़ों को और मजबूत करता है. उन्होंने ‘कुंभ’, ‘पुष्करम’ और ‘गंगा सागर मेले’ जैसे आयोजनों को सामाजिक सद्भाव और एकता को बढ़ाने वाले पर्व बताया.

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Courtesy: Social Media

Pm Modi Mann ki Baat: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज अपने रेडियो कार्यक्रम ‘मन की बात’ की 118वीं एपिसोड में कई अहम मुद्दों पर बात की. उन्होंने महाकुंभ को एकता और समरसता का प्रतीक बताया और इसकी ऐतिहासिक और सांस्कृतिक महत्ता पर प्रकाश डाला.  

पीएम मोदी ने 144 साल बाद आयोजित महाकुंभ को भारतीय परंपराओं और सामाजिक मेलजोल का प्रतीक कहा. उन्होंने कहा, 'महाकुंभ हजारों साल पुरानी परंपरा है, जो एकता, समता और समरसता का संगम है. यहां जाति, वर्ग या भेदभाव की कोई जगह नहीं है. यह आयोजन भारत की सांस्कृतिक विरासत को मजबूत करता है.' 

सभ्यता और संस्कृति से गर्व

प्रधानमंत्री ने महाकुंभ में युवाओं की बढ़ती भागीदारी का जिक्र करते हुए कहा कि जब युवा अपनी सभ्यता और संस्कृति से गर्व के साथ जुड़ते हैं, तो यह उनके जीवन की जड़ों को और मजबूत करता है. उन्होंने ‘कुंभ’, ‘पुष्करम’ और ‘गंगा सागर मेले’ जैसे आयोजनों को सामाजिक सद्भाव और एकता को बढ़ाने वाले पर्व बताया. पीएम मोदी ने 25 जनवरी को होने वाले राष्ट्रीय मतदाता दिवस पर भी चर्चा की. उन्होंने कहा, 'यह दिन इसलिए खास है क्योंकि इसी दिन भारतीय निर्वाचन आयोग की स्थापना हुई थी. मतदाता दिवस हमें हमारे लोकतंत्र की ताकत और जिम्मेदारियों की याद दिलाता है.' प्रधानमंत्री मोदी ने अयोध्या के राम मंदिर में राम लला की प्राण प्रतिष्ठा समारोह का भी जिक्र किया. उन्होंने कहा कि यह पौष द्वादशी के दिन मनाया जाएगा. उन्होंने कहा, 'हमें विकास की राह पर चलते हुए अपनी सांस्कृतिक विरासत को सहेजना चाहिए और उनसे प्रेरणा लेते हुए आगे बढ़ना चाहिए.' 

एकता का महाकुंभ

पीएम मोदी ने महाकुंभ को 'एकता का महाकुंभ' बताते हुए कहा कि यहां हर वर्ग और क्षेत्र के लोग एक साथ आते हैं. उन्होंने कहा, 'इस आयोजन में अमीर-गरीब, उत्तर-दक्षिण, हर वर्ग के लोग संगम में डुबकी लगाकर प्रसाद ग्रहण करते हैं. यही इसकी सुंदरता है. ऐसे आयोजन हमें हमारी परंपराओं से जोड़ते हैं.' इसके अलावा भी पीएम मोदी ने कई मुद्दों पर बात की. 

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