Punjab Politics: कांग्रेस नेता रंधावा ने बीजेपी पर किया पलटवार, बोले-जिस पार्टी ने उनके परिवार को सम्मान दिया उसी के पीठ पर छुरा घोंपा

Punjab Politics: पंजाब के पूर्व डिप्टी सीएम एवं कांग्रेसी नेता सुखजिंदर सिंह ने बीजेपी रंधावा ने बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष सुनील जाखड़ पर तंज कसा है. दरअसल, जाखड़ मे कांग्रेस का आप के साथ गठबंधन को लेकर निशाना साधा है. उन्होंने कहा कि संसद में आम आदमी पार्टी और कांग्रेस एक दूसरे की साथ देते हुए […]

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Punjab Politics: पंजाब के पूर्व डिप्टी सीएम एवं कांग्रेसी नेता सुखजिंदर सिंह ने बीजेपी रंधावा ने बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष सुनील जाखड़ पर तंज कसा है. दरअसल, जाखड़ मे कांग्रेस का आप के साथ गठबंधन को लेकर निशाना साधा है. उन्होंने कहा कि संसद में आम आदमी पार्टी और कांग्रेस एक दूसरे की साथ देते हुए दिखाई देते हैं. वहीं जाखड़ के इस बयान पर रंधावा ने पलटवार करते हुए कहा कि, उन्होंने अपना मौकापरस्त और कार्य चरित्र दिखाया है. जाखड़ ने उस हाथ को काटा है जिसने दशकों से उनके परिवार का पालन पोषण किया है.

कांग्रेस नेता सुखजिंदर सिंह रंधावा ने बीजेपी नेता सुनील जाखड़ पर तंज कसते हुए कहा कि, वह डर रहे हैं इसलिए वो बोलने पर मजबूर है. रंधावा ने ये भी दावा किया कि. सब लोग जानते हैं कि जाखड़ ने कार्रवाई से बचने के लिए वॉशिंग मशीन पार्टी से गुप्त सौदा किया है.कांग्रेस ने ये भी कहा कि, जाखड़ ने उनके परिवार को सम्मान, पहचान और कई पदों पर जिम्मेदारी देने वाले  कांग्रेस की पीठ पर छुरा घोंपा है. रंधावा ने कहा कि. जाखड़ के पिता  बलराम को गुजरात और मध्य प्रदेश का राज्यपाल बनाया साथ ही लोकसभा स्पीकर बनाया गया.

जाखड़ ने भरोसा तोड़ा- रंधावा

सुखविंदर सिंह रंधावा ने कहा कि सुनील जाखड़ ने कांग्रेस का भरोसा तोड़ा है. वह सारी उम्र कांग्रेस के पक्ष में रहे और अब भाजपा के हो गए.  जाखड़ उन मौका परस्त में से हैं जिन्होंने न सिर्फ कांग्रेस का भरोसा तोड़ा है बल्कि उनके परिवार के भी भावनाओं को ठेस पहुंचाई है.

रंधावा ने कहा कि, कांग्रेस की लीडरशिप ने हमेशा जाखड़ के परिवार का सम्मान किया है. उन्हें पार्टी ने कई सारी जिम्मेदारियां दी. उन्होंने ये भी कहा कि, जाखड़ के चुनाव हारने के बावजूद भी उन्हें पंजाब कांग्रेस का प्रमुख बनाया गया.  रंधावा ने कहा कि, दिस पार्टी ने उन्हें इज्जत दिलाया उनकी प्रमुख जिम्मेदारी दी उनकी वफादारी और नैतिकता और विश्वास पर सवाल उठाना जाखड़ को शोभा नहीं देता है.