केंद्र से कृषि क्षेत्र को मजबूत करने की मांग: किसान नेता डल्लेवाल ने कहा रोजगार के अवसर पैदा करना जरूरी

चंडीगढ़ : किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल ने केंद्र सरकार से कृषि क्षेत्र को मजबूत करने की अपील की है और इस क्षेत्र को रोजगार के अवसर पैदा करने का एक महत्वपूर्ण माध्यम बताया है. उन्होंने फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की कानूनी गारंटी की मांग को दोहराया और केंद्र से कृषि नीति में सुधार की आवश्यकता पर जोर दिया.

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Courtesy: social media

चंडीगढ़ : किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल ने केंद्र सरकार से कृषि क्षेत्र को मजबूत करने की अपील की है और इस क्षेत्र को रोजगार के अवसर पैदा करने का एक महत्वपूर्ण माध्यम बताया है. उन्होंने फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की कानूनी गारंटी की मांग को दोहराया और केंद्र से कृषि नीति में सुधार की आवश्यकता पर जोर दिया.

एमएसपी पर कानूनी गारंटी की मांग

डल्लेवाल ने पंजाब और हरियाणा की खनौरी सीमा बिंदु पर आयोजित महापंचायत में कहा कि कृषि क्षेत्र के विकास से रोजगार के अवसर बढ़ सकते हैं, जो देश के युवाओं को विदेशों में अवैध तरीके से जाने से रोक सकता है. उन्होंने कहा, "अगर भारत का कृषि क्षेत्र मजबूत होगा, तो यह लाखों लोगों को रोजगार प्रदान करेगा और इसके कारण हमारे युवा विदेशों में जाने के बजाय देश में रहकर काम कर पाएंगे."

अवैध प्रवासियों का मुद्दा उठाया

डल्लेवाल ने हाल ही में अमेरिका से 104 अवैध भारतीय प्रवासियों को वापस भेजे जाने का मुद्दा भी उठाया और सवाल किया कि वे अवैध तरीके से विदेश क्यों गए. उन्होंने इसे भारत में रोजगार के अवसरों की कमी से जोड़ते हुए कहा कि कृषि क्षेत्र को मजबूत करने से रोजगार सृजन संभव है.

स्वामीनाथन आयोग का फॉर्मूला लागू करने की मांग

उन्होंने केंद्र सरकार से मांग की कि स्वामीनाथन आयोग के "सी2 प्लस 50 प्रतिशत" फॉर्मूले को लागू किया जाए, ताकि किसानों को उनकी फसलों का सही मूल्य मिल सके और इससे कृषि क्षेत्र में सुधार हो सके. उनका कहना था कि अगर एमएसपी की कानूनी गारंटी मिलती है, तो यह रोजगार के एक बड़े स्रोत के रूप में काम करेगा.

युवाओं को रोजगार देना प्राथमिकता

डल्लेवाल ने अपनी लड़ाई को युवाओं को रोजगार देने के उद्देश्य से बताया और कहा, "हमारी लड़ाई इस बात के लिए है कि हमारे युवा विदेशों में जाने के बजाय अपने देश में रोजगार पा सकें." उन्होंने किसानों, मजदूरों और अन्य लोगों से अपील की कि वे इस आंदोलन को मजबूत करें और मिलकर इसके लिए संघर्ष करें.

संकट के बावजूद अनशन जारी

यह प्रदर्शन एक साल पूरा होने के मौके पर आयोजित किया गया था और डल्लेवाल ने इस दौरान अनिश्चितकालीन अनशन जारी रखा था. उन्होंने इस मुद्दे पर सरकारी डॉक्टरों की मौजूदगी के बीच अपनी चिकित्सा सहायता भी स्वीकार की। हालांकि, उन्होंने अपना अनशन समाप्त नहीं किया.

केंद्र सरकार से आगामी बातचीत की उम्मीद

किसान नेता ने यह भी कहा कि केंद्र सरकार से आगामी बातचीत में उनके द्वारा उठाए गए मुद्दों पर चर्चा की जाएगी. 18 जनवरी को केंद्र सरकार के प्रतिनिधिमंडल ने एसकेएम (गैर-राजनीतिक) और केएमएम को 14 फरवरी को चंडीगढ़ में अपनी मांगों पर चर्चा के लिए आमंत्रित किया है.

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