Punjab: पंजाब में पराली जलाने के मामलों में लगातार बढ़ोत्तरी देखी जा रही है. जिसके बाद सरकार की ओर से अब बहुत ज्यादा सख्ती दिखाई जा रही है. वहीं पराली जलाने वालों के खिलाफ मामले दर्ज किए जा रहे हैं. जबकि इसी कार्रवाई के डर से बठिंडा के कोठागुरु गांव के रहने वाले किसान ने आत्महत्या कर ली है. वहीं भारतीय किसान यूनियन एकता उग्राहां ने बताया कि पराली को आग लगाने के बाद किसान इतना डर गया था कि, उसने आत्महत्या कर ली है.
बता दें कि बठिंडा जिले के गांव कोठागुरु के रहने वाले किसान गुरदीप सिंह ने अपनी 6 कनाल जमीन पर आग लगाई थी. जबकि इस दरमियान सरकारी अधिकारी वहां मौके पर जांच करने पहुंच गए. जिसके बाद किसान गुरदीप सिंह कार्रवाई के डर से घर के अंदर आकर घर में लगे पंखे से लटक कर आत्महत्या कर ली है. जिस मामले को लेकर भारतीय किसान यूनियन एकता उग्राहां के किसान नेताओं ने प्रशासनिक अफसरों के साथ बैठक की है. जबकि प्रशासन की ओर से किसान के परिवार को 2 लाख रुपए आर्थिक सहायता व मृतक की पत्नी को पेंशन के साथ विभिन्न सुविधाएं देने का आश्वासन दिया गया है.
वहीं एनजीटी की ओर से पंजाब के खेतों में पराली जलाने की घटनाओं को लेकर दुख जताया है. जबकि एनजीटी की ओर से बताया गया है कि, पराली जलाने की घटनाओं के चलते निरंतर अनेक उपाय किए गए हैं. इतना ही नहीं संबंधित अफसरों ने इसको लेकर पूरी तरह से ध्यान भी नहीं दिया है. साथ ही एनजीटी की ओर से कहा गया कि, पराली जलाने की घटनाओं को रोकने के लिए पंजाब के मुख्य सचिव को पत्र भी लिखा गया था,परन्तु कोई निर्णय नहीं निकल पाया है.
आपको जानकारी दें कि, एनजीटी ने हाल ही में पराली जलाए जाने से वायु प्रदूषण में हुई बढ़ोतरी को लेकर मामले को संज्ञान में लिया था. वहीं भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन प्रोटोकॉल के मुताबिक, पंजाब में पराली जलाने की अब तक कुल 33,719 घटनाएं सामने आ चुकी है.